WAQF BOARD को लेकर इन दिनों एक अलग तरह की बहस शुरू हो गई है। कुछ लोग वक्फ बोर्ड को बैन करने की मांग कर रहे हैं तो कुछ लोग इस बोर्ड में संशोधन करके इसकी ताकत को कम करने की मांग कर रहे हैं। आपको याद होगा कि देश का बंटवारा धर्म के आधार पर हुआ था। लेकिन आज एक बार फिर वक्फ बोर्ड ने वही हालात पैदा कर दिए हैं।
वैसे तो वक्फ बोर्ड मुस्लिम समुदाय से जुड़ी जमीन के लिए बनाया गया था। लेकिन आज देश की कई अहम और महंगी जमीनों पर भी वक्फ बोर्ड ने दावा ठोक दिया है। वक्फ बोर्ड के पास आज ऐसे-ऐसे अधिकार हैं जिसकी वजह से बोर्ड किसी भी जमीन पर अपना दावा ठोक देता है। सबसे बड़ी बात ये है कि वक्फ जिस जमीन पर अपना दावा ठोक देता है। उस जमीन को आजाद कराना आज के समय में बेहद मुश्किल काम है।
WAQF BOARD के पास कितनी जमीन है ?
साल 2022 की एक रिपोर्ट में बताया गया है कि, वक्फ बोर्ड के पास 9 लाख 40 हजार एकड़ जमीन है। इस जमीन को आप अगर किलोमीटर में देखेंगे तो ये 3 हजार 800 किलोमीटर से ज्यादा बैठेगी। ये जमीन भारतीय रेल, भारतीय सेना के बाद तीसरे स्थान पर आती है। यानी कि वक्फ बोर्ड के पास भारत में तीसरी सबसे ज्यादा जमीन का मालिकाना हक है। जो किसी देश के लिए खतरनाक है।
इतना ही नहीं इतनी जमीन तो कई देशों के पास भी नहीं है। वक्फ बोर्ड के पास फिलहाल 7 लाख 87 हजार से ज्यादा संपत्ति है। वक्फ बोर्ड की जमीन सबसे ज्यादा उत्तर प्रदेश में है। फिर पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु में वक्फ बोर्ड ने जमीनों पर कब्जा किया हुआ है। ये आंकड़ा किसी भी देश के लिए खतरनाक है। इसलिए सरकार WAQF BOARD Amendment Bill 2024 लेकर आ रही है। इस बिल में 40 से ज्यादा संशोधन किए जाएंगे।
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