BJP से आरसीपी सिंह का मोहभंग, अब बनाएंगे खुद की पार्टी, जेडीयू सांसद ने कहा- 'टाइगर जिंदा नहीं मुर्दा है'

बिहार की राजधानी पटना की सड़कों पर आरसीपी सिंह के नए पार्टी बनाए जाने को लेकर पोस्टर लगाए गए हैं। इन पोस्टरों पर लिखा गया है कि टाइगर अभी जिंदा है।

BJP से आरसीपी सिंह का मोहभंग, अब बनाएंगे खुद की पार्टी, जेडीयू सांसद ने कहा- 'टाइगर जिंदा नहीं मुर्दा है'

बिहार में अगले साल विधानसभा के चुनाव हैं। आगामी विधानसभा चुनाव से पहले नई-नई राजनीतिक दलों का गठन होना शुरू हो चुका है। इसका संकेत आरसीपी सिंह के समर्थकों ने दिया है। पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह खुद की एक पार्टी बनाने वाले हैं। उनका भारतीय जनता पार्टी (BJP) से मोहभंग हो गया है।

पटना की सड़कों पर लगे पोस्टर

आरसीपी सिंह ने मई 2023 में बीजेपी में शामिल हुए थे। इससे पहले वह जेडीयू में थे। वहीं, अब नई पार्टी बनाए जाने का संकेत देते हुए पटना की सड़कों पर उनके समर्थकों ने टाइगर जिंदा है का पोस्टर लगाया गया है। 

जेडीयू सांसद ने दी प्रतिक्रिया

आरसीपी सिंह द्वारा नई पार्टी बनाए जाने पर जेडीयू सांसद की प्रतिक्रिया सामने आई है। टाइगर जिंदा है के सवाल पर नालंदा के जेडीयू सांसद कौशलेंद्र कुमार ने कहा कि जंगल अगर पटना में होगा तभी न शेर जिंदा है। सभी को मालूम है कि पटना में जंगल नहीं है तो फिर पटना में शेर जिंदा कैसे हो गया?

टाइगर जिंदा नहीं मुर्दा है- जेडीयू सांसद

इसके साथ ही जेडीयू सांसद कौशलेंद्र कुमार ने कहा कि जो मुर्दा लोग हैं। वह अपने आप को टाइगर बता रहे हैं। बिना जंगल के शेर जिंदा नहीं रह सकता है। इसलिए टाइगर जिंदा नहीं बल्कि मुर्दा है।

पार्टी बनाने का अधिकार सभी को

आरसीपी सिंह के पार्टी बनाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि पार्टी बनाने का अधिकार सभी को है। बिहार में एनडीए गठबंधन और इंडिया महागठबंधन दो ही दल हैं। एनडीए गठबंधन में नीतीश कुमार के शासनकाल में जो विकास हुआ है, जनता उसी विकास के नाम पर नीतीश कुमार को वोट देते आ रही है। 

दोनों ही नेता नालंदा जिले के

जेडीयू सांसद कौशलेंद्र कुमार ने पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह को सलाह देते हुए कहा कि नीतीश कुमार और आरसीपी सिंह दोनों नालंदा जिले के हैं। ऐसी स्थिति में आरपीसी को पार्टी नहीं बल्कि बीजेपी में रहना चाहिए था।

जनता दरबार लगा रहे जेडीयू सांसद

बता दें कि नालंदा सांसद कौशलेंद्र कुमार इन दिनों अपने गृह क्षेत्र में मौजूद हैं। अपने इलाकों का भ्रमण कर लोगों से मिलकर उनकी समस्याएं सुन रहे हैं। साथ ही वह घर पर ही जनता दरबार भी लगा रहे हैं।